Friday, April 9, 2010

वो देखो!

वो देखो! सबकी नज़रें रुक सी गई हैं,
सबके दिलों की धड़कन थम सी गई है,
उसकी एक झलक के लिए दुनिया जैसे ठहर सी गई है,
उसकी नज़रों में आने के लिए बादल जैसे झुक से गए हैं,
उसकी पायलों की आवाज़ सुनने के लिए हवा ने भी लहराना छोड़ दिया,
उसके साथ ताल मिलाने के लिए पंछी भी जैसे चह-चाह रहे हैं..

2 comments:

  1. एक वो है के बस दूर दूर और दूर चले जा रहे है ................kya baat hai............gt work done

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